ईरान में 2013 में बेरोजगारों को रोज़गार का सपना दिखाकर और अर्थव्यवस्था को बेहतर बनाने का नारा देकर पहली बार सत्ता में आये हसन रैहानी नौकरियां पैदा करने और उन्हें बचाए रखने में असफल हो रहे हैं. इस वक्त वहां 12% बेरोजगारी है. बाजार में महंगाई है और बेरोजगारों के पास आम जरूरतों को पूरा करने का पैसा भी नहीं है. वहां लगभग 40% यूवा बेरोजगार हैं.

 

जा हल ईरान का है वाही हाल हिंदुस्तान का भी है. लगभग 12 करोड़ लोग भारत में बेरोजगार हैं. मोदी सरकार को इन बेरोजगार लोगों से सावधान रहने की जरुरत है. बेरोजगारों को तथाकथित अच्छे दिनों का सपना दिखाकर ही मोदी सरकार ने सत्ता पाई थी.

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